- प्राकृति खेती के प्रति किसानों का रुझान बढ़ाने के लिये दी गई आवश्यक जानकारी
- चार दर्जन से अधिक किसानों ने प्रशिक्षण में लिया हिस्सा।
- मिट्टी की उर्वरा शक्ति बनाये रखने के लिये वैज्ञानिकों ने किसानों को दिया टिप्स
संजय कुमार सिंह। राष्ट्रनायक न्यूज।
बनियापुर (सारण)। प्रखंड के कराह गांव में शनिवार को कृषि विज्ञान केंद्र मांझी के सौजन्य से एक दिवसीय जागरूकता कार्यक्रम का आयोजन किया गया। जागरूकता कार्यक्रम में प्राकृतिक खेती के प्रति किसानों का रुझान बढ़ाने के लिए कृषि वैज्ञानिको द्वारा आवश्यक जानकारी उपलब्ध कराई गई। कृषि विज्ञान केन्द्र के वरीय वैज्ञानिक डॉ. अभय कुमार सिंह ने किसानों को संबोधित करते हुए कहा कि वर्तमान समय में प्राकृतिक खेती की बहुत आवश्यकता है।क्योंकि वर्तमान समय में उर्वरकों व एग्रो- केमिक्ल्स के मूल्यों में काफी बढ़ोतरी हुई है। साथ ही समय-समय पर उर्वरकों के आपूर्ति की भी समस्या उतपन्न हो रही है।ऐसे में विकल्प की ओर देखना आवश्यक है।जो हमारे प्रकृति में ही मौजूद हो। हम अपने खेतों में सूक्ष्मजीवों एवं केंचुआ इत्यादि को सक्रिय कर कृषि लागत को कम कर सकते है।साथ ही मिट्टी की उर्वरा शक्ति को भी बढाया जा सके। लगातार भूमि पर रासायनिक कीटनाशको एवं उर्वरकों के प्रयोग से भूमि की उर्वरा शक्ति समाप्त होने के कगार पर है।ऐसे में मिट्टी की उर्वरक क्षमता को देखते हुए प्राकृतिक खेती जरूरी है।वही उद्यान विशेषज्ञ डॉ. जितेन्द्र चन्द्र चन्दोला ने किसानों को प्राकृतिक खेती के चार स्तंभ एवं सिद्वांत जीवामृत, घनजीवामृत, बीजामृत एवं नीमास्त्र इत्यादि बनाने की विधि एवं विभिन्न फसलों में उपयोग की विस्तृत जानकारी दीl विशेषज्ञों ने कहा कि बनियापुर में प्राकृतिक खेती की अपार संभावना है। जिसको लेकर प्राकृतिक खेती हेतु सघन जागरूकता चलाया जा रहा है। रामेश्वर सिंह,अविनाश कुमार्, प्रेम सिंह, जनार्दन मांझी, देवेंद्र सिंह,जय प्रकाश सिंह, मुकेश सिंह सहित चार दर्जन से अधिक किसानों ने प्रशिक्षण में भाग लिया।


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