अमनौर विधानसभा क्षेत्र में राजद प्रत्याशी के रूप में तीन दावेदारों में टिकट के लिए मचा है घमासान, जानने के लिए देखे यह खास रिर्पोट
पंकज कुमार मिश्रा की रिर्पोट।
सारण (छपरा)। अमनौर विधानसभा क्षेत्र के राजद प्रत्याशी के लिए तीन मुख्य दावेदार हैं ,पूनम राय, सुनील राय, अभिषेक यादव। पूनम राय बसपा में होते हुए राजद के कट्टर समर्थक मानी जाती है, कारण है आदरणीय राजद सुप्रीमो लालूजी द्वारा पूनम राय के पति गायक राधेश्याम राय उर्फ अनिल मस्ताना को रेलवे में नौकरी देना। महागठबंधन में अमनौर सीट चले जाने के कारण 2015 में पूनम राय बसपा के टिकट पर चुनाव लड़ी थी,बिहार प्रदेश बसपा के प्रदेश महासचिव रह चुकी है ,उसके बाद पांच साल क्षेत्र में समाज सेवा करती रही है ,बाढ हो या सुखार हो ,कोई बीमार हो या कोई प्राकृतिक आपदा हो , शादी-ब्याह हो या सुख -दुःख हो ,हर समय जनता के साथ रही है, खासकर कोरोनाकाल में लाॉक डाउन के दौरान दो महिनों तक “अमनौर में कोई भूखा नहीं रहें” भियान चलाकर गरीबों मजदूरों ,बेबस ,लाचार, वृद्ध ,विधवा ,दिब्यांग आदि जरूरतमंदों के बीच राशन सामग्री आंटा, चावल ,आलू, मास्क और साबुन का वितरण करती रही ,इसके अलावा मध्य प्रदेश के खांडवा , हरियाणा व उत्तर प्रदेश के सहारनपुर में फंसे सैकड़ों प्रवासी मजदूरों को पदाधिकारियों के बात कर उनके घर बुलवाकर क्वारंटाइन कराने में अहम भूमिका निभाई है। इसकारण क्षेत्र में समाजसेवी महिला नेत्री की स्वच्छ छवि बनी है , अमनौर के ही अरना कोठी में केन्द्रीय विश्वविद्यालय खुलवाने की मांग को लेकर कुल 28 लोकसभा सांसदों का हस्ताक्षर कराकर प्रधानमंत्री को पत्र भेजकर छात्र -छात्राओं में खासी चर्चित रही है। देश के प्रथम राष्ट्रपति डॉ राजेंद्र प्रसाद और लोकनायक जयप्रकाश नारायण की जन्मभूमि सारण( छपरा)के अमनौर प्रखंड के अरना कोठी में केन्द्रीय विश्वविद्यालय खुलवाने की मांग को लेकर लंबे समय से पूनम राय आंदोलन व धरना प्रदर्शन करती रही है।दहेज विरोधी दल चैरिटेबल ट्रस्ट से जुड़कर अध्यक्ष सह संयोजक के रूप में काम करते हुए कई गरीबों के बेटियों की शादी बिना दहेज के कराकर और आर्थिक मदद कर लोगों में काफी सुर्खियां बटोर चुकी है। पूनम राय ईमानदार और मददगार महिला नेत्री के अलावा अपनी निर्विवाद बेदाग और स्वच्छ छवि के कारण समाज के हर जाति और समुदाय में लोकप्रियहै।दुसरा राजद जिला अध्यक्ष सुनील राय है,जिसकी क्षेत्र में दागी और दबंग की छवि रही है। अमनौर में हो रहे भ्रष्टाचार और इनके दबंगई के कारण सुनील राय के क्षेत्र में दोस्तों से ज्यादा दुश्मनों की संख्या है , दबंग छवि के वजह से डर के मारे लोग मुंह पर तो कुछ नहीं बोल पाते , लेकिन अंदर ही अंदर नाराजगी रहती है । टिकट नहीं मिलने पर निर्दलीय प्रत्याशी उतरने का बात करते है,।तीसरा अमनौर विधानसभा क्षेत्र के बिल्कुल उत्तरी छोर के मकेर प्रखंड निवासी अभिषेक यादव है,इनका पहला चुनाव होगा और पैसा के बदौलत टिकट लेने की बात करते रहते हैं,अभिषेक यादव और सुनील राय में से किसी एक को टिकट मिलने पर दुसरा निर्दलीय मैदान में उतरेंगे और पार्टी की नैया डूबनी तय है ,पूनम राय को टिकट मिलता है तो स्वच्छ छवि और महिला समाजसेवी होने के साथ- साथ निर्विवाद छवि के कारण समाज के हर तबका , महिलाओं का अच्छा खासा समर्थन मिलेगा और पूनम राय का घर सुनील राय के पड़ोस के कोरेयां पंचायत के हकमा में है,इस कारण सुनील राय निर्दलीय उतरकर भी पार्टी को नुकसान नहीं कर पायेंगे।सुनील राय अमनौर के प्रमुख रहे हैं और अभिषेक यादव मकेर के प्रमुख हैं दोनों कट्टर प्रतिद्वंद्वी है और निर्दलीय लड़कर राजद को नुक्सान पहुंचाने का काम करेंगे ,यह तय है , इसलिए राजद नेतृत्व को पूनम राय के नाम पर विचार करना चाहिए।और महिला प्रत्याशी के रूप में पूनम राय को उतारकर समाज के हर तबके का समर्थन लेने में तनिक भी देर नहीं करना चाहिए।इसतरह अमनौर में पूनम राय के रूप में महिला बिधायक होने पर लोकसभा चुनाव में भी महिलाओं का झुकाव भी राजद की ओर होने से फायदा मिलेगा।


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