तेज बारिश व हवा में धान की फसल को नुकसान, किसान मायूस
संजय पाण्डेय/वीरेश सिंह
दाउदपुर (सारण)। अचानक मौसम के मिजाज में आये बदलाव से बुधवार रात से मांझी व एकमा प्रखंड क्षेत्र सहित सारण जिले भर में झमाझम तेज बारिश व हवा से धान की खड़ी फसल को काफी नुकसान होने की उम्मीद है।किसान अपनी-अपनी धान की खेतो की वस्तुस्थित देख मायूस है।
अच्छी फसल की उम्मीद पाले किसानों के अरमानों पर पानी फिरता नजर आ रहा है।उनके चेहरे पर चिंता की लकीर खिंच गई है।किसानों की कई महीनों की कड़ी मेहनत पर तेज बारिश व हवा ने उनके अरमानोन पर पानी फेर दिया है। लगातार हो रही तेज बारिश व हवा से जगह जगह खेतों में धान की फसल जमीन पर गिरकर पानी में बर्बाद हो रही है।बताया गया है कि प्रखंड क्षेत्र के दाउदपुर, जैतपुर, बरेजा, शीतलपुर, गोबरही, ताजपुर, मांझी, डुमडी, बंगरा, मदनसाठ, नचाप, भजौना, महम्मदपुर इनायतपुर, चमरहिया, कोहड़ा, नसीरा, बलेसरा, लेजुआर आदि अन्य सभी गांवों में धान की फसल को भारी क्षति होने का अनुमान है। लहलहाती धान की फसल को अचानक बारिश व तेज हवा के थपेड़ों ने काफी नुकसान पहुंचाया है।
वहीं किसानों का कहना है कि कुछ खेतों में अत्यधिक पानी के जमा होने से जिस प्रकार से विकास होना चाहिए नहीं हो पा रही है। वहीं जिन धान की फसलों में बालियां लग गई थी। वह भी ज्यादा पानी हो जाने से खराब होने के कगार पर पहुंच गई है। दूसरी ओर इस बार प्रदेश समेत सभी प्रखंड क्षेत्रो में रिकार्ड बारिश का क्रम जारी है। अगर यही स्थिति रही तो ज्यादातर फसल खेत में ही सड़ कर बर्बाद हो जाएगी।
इस बार लगातार वारिश के पानी से खरीफ की मुख्य फसल धान सहित अन्य फसलों को काफी नुकसान पहुंचाया है।कुछ क्षेत्रों में धान की फसलों में काफी पानी लगा हैं और वह भी फसल बर्बाद होने की कगार पर है।किसानों का कहना है कि अत्यधिक वारिश होने से धान का पौधा काफी लंबा हो गया है। जिससे थोड़ी सी तेज हवा में ही खेतों में लटक जा रही है।किसान अंजनी सिंह, मनीष पाण्डेय, सरोज सिंह, गोपाल पाण्डेय, लालबाबू राम, अजय दुबे, वीरेश सिंह, झूलन राय, रमेश राय, अजय दुबे, अनिल सिंह, राजेश सिंह, मदन गोपाल सिंह, मनोज पाठक, रामाश्रय तिवारी, लाल साहब ठाकुर, विश्वनाथ पाण्डेय, प्रेम पाण्डेय आदि ने बताया कि कुछ इलाकों में रोपणी के समय में ही बाढ़ का पानी खेतों में जमा हो गई थी। पूर्व में जिससे धान की फसल डूब कर पूरी तरह बर्बाद हो गई थी। वहीं कुछ इलाकों में धान की अच्छी फसल लगी थी। जिससे अच्छी पैदावार होने की उम्मदी जगी थी। लेकिन बेमौसम बरसात ने किसानों की उम्मदी पर भी पानी फेर दिया है।
किसानों का कहना है कि सबसे बुरा हाल उन फसलों का है। जिसमें अगेती किस्म की धान की बालियां फूट चुकी हैं। जो हवा से पानी में लेट गई हैं। इसके पूरी तरह नुकसान होने की आशंका बरकरार है। इसे लेकर किसान काफी चतित है। किसानों का कहना है कि इस बार पानी का अभाव नहीं है। लेकिन अधिक पानी से पैदावार पर भारी असर पड़ने के आसार दिख रहे है। धान में अधिक पानी होने से तैयार होने वाली फसल में दाना नहीं होकर पईया हो जाएगा। साथ ही खेतों में अधिक पानी से कटाई लेट व अगली रबी फसल की बोआई में भी समस्या आ सकती है। वहीं पशुपालकों के सामने चारा की भी समस्या उत्पन्न होने का भय अभी से ही सताने लगा है।


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