राष्ट्रनायक न्यूज।
पटना (बिहार)। बिहार विधानसभा में मंत्री नीरज बबलू अपनी ही पार्टी के एक विधायक के सवाल पर फंस गए। विधायक ने सर्पदंश से मौत पर मुआवजे का सवाल उठाया था। मंत्री ने इस सवाल का ऐसा जवाब दिया कि वह विपक्ष के साथ पक्ष के भी निशाने पर आ गए। मंगलवार को विधानसभा में सांप का मुद्दा खूब गूंजा। यह सवाल सत्ताधारी भाजपा के विधायक पवन जायसवाल ने ही उठाया था। उन्होंने अपनी पार्टी से मंत्री नीरज कुमार सिंह उर्फ बबलू को घेर लिया। मंत्री के जवाब पर सदन में सरकार की खूब किरकिरी हुई।
मामला, प्रश्नकाल के दौरान का है। विधायक ने पूछा था कि सर्पदंश से मृत्यु पर पीड़ित परिवार को मुआवजा दिए जाने का क्या प्रावधान है। भाजपा विधायक पवन जायसवाल ने यह सवाल पहले किया था जिसे आपदा प्रबंधन विभाग ने वन पर्यावरण विभाग को हस्तांतरित कर दिया था।
आज एक बार फिर से सवाल यह सदन में आया तो वन पर्यवारण विभाग ने इसे एक बार फिर से आपदा प्रबधन विभाग को ही लौटा दिया। इसके बाद सदन में सरकार घिर गई। विधायक पवन जायसवाल ने इस पर गंभीर आपत्ति जताई। सदन में इस सवाल पर बहस होने लगी तो विधानसभा अध्यक्ष विजय सिन्हा ने हस्तक्षेप किया। उन्होंने दोनों विभागों को डिप्टी सीएम के साथ बैठक कर हल निकालने को कहा।
सत्ताधारी दल के विधायक के इस सवाल पर मंत्री घिरे तो विपक्ष को भी मौका मिल गया। विपक्ष ने सरकार को इस मुद्दे पर जमकर घेरा। एक विधायक ने पूछा कि राज्य में वन एवं पर्यावरण अधिनियम के तहत सांपों को मारने पर गैर जमानती वारंट जारी होता है लेकिन सांप के डसने पर मौत से मुआवजा क्यों नहीं मिलता। इस पर सत्ता पक्ष के पवन जायसवाल, संजय सरावगी समेत अन्य कई विधायकों ने कहा कि सवाल को लेकर अफसर गुमराह कर रहे हैं। एक-दूसरे विभाग में टालमटोल हो रही है। ऐसे अफसरों पर कार्रवाई होनी चाहिए।
भाजपा के विधायक संजय सरावगी ने कहा कि पिछले साल तत्कालीन डिप्टी सीएम सुशील कुमार मोदी ने सदन में आश्वासन दिया था कि सर्पदंश से मृत्यु पर वन पर्यावरण विभाग से पीड़ित परिवार को चार लाख रुपए का मुआवजा दिया जाएगा। लेकिन अब बताया जा रहा है कि विभाग में इस तरह का कोई प्रावधान नहीं है। सवाल एक विभाग से दूसरे विभाग को लौटा दिया जा रहा है।


More Stories
कार्यपालक सहायकों ने स्थायीकरण की मांग को ले दी चरणबद्ध आंदोलन व अनिश्चितकालीन हड़ताल की चेतावनी
भू-सम्पदा अधिनियम का उलंघन करने वाले प्रमोटर्स की पहचान कर रेरा ने लगाया जुर्माना, प्रोजेक्ट के ज़मीन की रजिस्ट्री एवं दाखिल ख़ारिज पर भी रोक
बिहार में डोमिसाइल नीति लागू, बिहार से मैट्रिक या इंटरमीडिएट करने वाले युवाओं को शिक्षक नियुक्ति में रिक्त पदों के 40 फीसद पदों पर हीं लागू होगा डोमिसाइल